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भीमताल न्यूज : सीडीओ ने 13 अगस्त शाम तक मांगी एफपीओ और उनकी गतिविधियों की रिपोर्ट


भीमताल। विकास भवन भीमताल में मुख्य विकास अधिकारी नरेन्द्र सिह भण्डारी की अध्यक्षता में कृषक उत्पादक संगठन निर्माण योजना एवं एग्र्रीकचर इंफ्रास्ट्रेक्चर फण्ड सम्बन्धित बैठक आयोजित हुई। मुख्य विकास अधिकारी भण्डारी ने सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे 13 अगस्त की सायं तक कृषक उत्पादक संगठन (एफपीओ) एवं उनकी गतिविधि का चयन कर प्रस्तुत करना सुनिश्चित करेंगे। उन्होंने यह भी निर्देश दिये कि जो पूर्व से कार्य कर रहेे हैं उन एफपीओ को प्राथमिकता दी जाए।
बैठक में डीडीएम नाबार्ड विशाल कंसल ने बताया कि कृषक उत्पादक संगठन निर्माण योजना (एफपीओ) भारत सरकार की महत्वाकांक्षी योजना है इसके अन्तर्गत जिले के प्रत्येक विकास खण्ड में कृषक उत्पादक संगठन का गठन आगामी चार वर्षो मे किया जाना है। इसके अन्तर्गत प्रथम वर्ष मे जनपद के दो विकास खण्डों में एक-एक कुल दो एफपीओ बनाने का लक्ष्य है। एफपीओ मे पर्वतीय क्षेत्रों मे न्यूनतम 100 कृषक एवं मैदानी क्षेत्रों मे न्यूनतम 300 कृषक होने आवश्यक है। उन्होने बताया कि योजना में प्रत्येक एफपीओ को अधिकतम 18 लाख तक का अनुदान एवं 15 लाख रूपये तक मैचिंग एक्टीविटी दिये जाने का प्राविधान है। इस योजना के अन्तर्गत 2 करोड तक के लोन पर सरकार द्वारा प्रतिभूति प्रदान करने का नियम है साथ ही बैंकर्स ग्रामीण विकास संस्थान इसमें उत्कृष्ठ प्रशिक्षण प्रदान करेगा। डीडीएम नाबार्ड ने बताया कि जनपद में नाबार्ड द्वारा अभी कुल चार एफपीओ मुक्तेश्वर किसान कम्पनी, संगीनी उत्पादक समूह,लोहाखाम स्वायत्त सहकारिता एवं देवभूमि किसान कम्पनी को सहायता प्रदान की गई है। जिस पर मुख्य विकास अधिकारी ने मुख्य कृषि अधिकारी को निर्देशित किया कि इन नाबार्ड द्वारा गठित एफपीओ की वर्तमान स्थिति के सम्बन्ध में एक सप्ताह के भीतर अपनी निरीक्षण रिपोर्ट प्रस्तुत करेेंगे।
डीडीएम नाबार्ड द्वारा भारत सरकार की दूसरी महत्वाकांक्षी योजना कृषि अवसंरचना निधि (एग्र्रीकचर इंफ्रास्ट्रेक्चर फण्ड) की विस्तृत जानकारी देते हुये बताया कि यह योजना चार वर्षो के लिए एक लाख करोड़ की है, जिसके अन्तर्गत प्रथम वर्ष में दस हजार करोड़ का प्राविधान नाबार्ड के अन्तर्गत किया गया है। इस योजना के अन्तर्गत फसल कटाई उपरान्त, खाद्य आपूर्ति श्रंखला, ई-मार्केटिंग प्लेटफार्म, गोदाम, शीतश्रंखला,पैक हाउस, प्राथमिक प्रसंस्करण केन्द्र, सुक्ष्म सिचाई, सामुदायिक कृषक परिसम्पत्तियों के निर्माण के प्रत्येक गतिविधि कार्यो के लिए 2 करोड तक के ऋण पर क्रेडिट गारंटी और 3 प्रतिशत ब्याज अनुदान अधिकतम 7 वर्षो तक दिया जायेगा।
मुख्य विकास अधिकारी भण्डारी सभी रेखीय विभागों के अधिकारियों को निर्देश दिये कि वे दोनो महत्वाकांक्षी योजनाओं का व्यापक प्रचार प्रसार कर कृषकों एवं कृषक समूहों को लाभ पहुचाना सुनिश्चित करें।
बैठक में जिला विकास अधिकारी रमा गोस्वामी,एपीडी संगीता आर्या, जिला अग्रणी बैक अधिकारी एमएस जंगपांगी,मुख्य कृषि अधिकारी धनपत कुमार, मुख्य पशु चिकित्साधिकारी डा. पीएस भण्डारी,प्रभारी अधिकारी कृषि विज्ञान केन्द्र ज्योलीकोट डा. विजय कुमार दोहरे, मत्स्य निरीक्षण कुंवर सिह बगडवाल आदि मौजूद थे।

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