सीएनई रिपोर्टर, अल्मोड़ा
लंबित मांगों को लेकर सरकारी सस्ता गल्ला विक्रेताओं के सामूहिक त्यागपत्र से एक बड़ा संकट शुरू हो गया है। विक्रेताओं को मनाने के लिए सरकारी सस्ता गल्ला विक्रेता कल्याण समिति की जिला पूर्ति अधिकारी के साथ हुई बैठक का कोई नतीजा नहीं निकल सका। संगठन ने ऐलान कर दिया कि जब तक विक्रेताओं को सम्मानजनक मानदेय व नेट चार्ज स्वीकृत नहीं किया जाता तब तक सस्ता गल्ला विक्रेता अपना त्यागपत्र वापस नहीं लेंगे।
सरकारी सस्ता गल्ला विक्रेता कल्याण समिति की जिलापूर्ति अधिकारी के साथ वार्ता हुई। बैठक में विक्रेताओं द्वारा दिये गये सामूहिक त्यागपत्र पर चर्चा की गयी। संगठन द्वारा जिलापूर्ति अधिकारी से वार्ता में साफ तौर पर कहा गया कि जब तक शासन विक्रेताओं को मानदेय स्वीकृत नहीं करता तथा नेट खर्च स्वीकृत नहीं किया जाता है तथा विक्रेताओं का सामूहिक जीवन बीमा नहीं किया जाता है विक्रेताओं द्वारा त्यागपत्र वापस नहीं नहीं जायेगा।
उन्होंने जिलापूर्ति अधिकारी से अनुरोध किया कि विक्रेताओं के बिलों का शासनादेश के अनुरूप प्रतिमाह भुगतान किया जाये। संगठन द्वारा निर्णय लिया गया कि आंदोलन जारी राख जायेगा। बैठक में विक्रेताओं की विभाग की ओर से जिला पूर्ति अधिकारी दिव्या पांडे, क्षेत्रीय खाद्य अधिकारी एनडी जोशी, पूर्ति निरीक्षक गोविंद प्रसाद से वार्ता हुई।
इसके बाद पुन: संगठन की बैठक में तय हुआ कि प्रत्येक गोदाम में जाकर विक्रेताओं से सम्पर्क किया जायेगा तथा सभी विक्रेताओं से सहयोग करने का अनुरोध किया जायेगा। विक्रेताओ द्वारा संगठन को अवगत कराया जा रहा है कि वह भी शीघ्र सामूहिक व्यागपत्र देने को तैयार हैं। यह भी निर्णय लिया गया कि सोमवार से एक बार फिर ग्रामीण क्षेत्रों का भ्रमण पदाधिकारियों द्वारा किया जायेगा। बैठक में जिलाध्यक्ष संजय साह रिक्कू, महामंत्री केसर सिंह खनी, प्रदेश संयोजक अभय साह, प्रदेश सलाहकार दिनेश गोयल, जिला उपाध्यक्ष नारायण सिंह बिष्ट आदि उपस्थित थे।