अल्मोड़ा। पूर्व विधानसभा अध्यक्ष व जागेश्वर के विधायक गोविंद सिंह कुंजवाल ने कहा कि भाजपा की त्रिवेंद्र सरकार द्वारा गैरसैंण को ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित करना प्रदेश की जनता के साथ सबसे बड़ा छलावा है। उन्हेांने कहा कि यदि कांग्रेस सत्ता में आई तो गैरसैंण को स्थायी राजधानी घोषित किया जायेगा।
यहां एक होटल में मीडिया से मुखातिब कुंजवाल ने गैरसैंण ग्रीष्मकालीन राजधानी घोषित किये जाने को लेकर प्रदेश की भाजपा सरकार को आड़े हाथों लेते हुए कहा कि जिसने गैरसैंण के विकास के लिए एक ईंट तक नही लगाई, वह आज इसका श्रेय लेना चाह रहा है। उन्होंने कांग्रेस की पूर्ववर्ती सरकारों का जिक्र करते हुए कहा कि बहुगुणा से लेकर हरीश रावत सरकार तक गैरसैंण को राजधानी के रूप में विकसित करने के लिए तमाम कार्यों को अंजाम दिया गया। आज वहां आलीशान विधानसभा भवन बना है, विधायकों से लेकर अधिकारियों व कर्मचारियों के आवासीय भवन बने हैं, जो सब कांग्रेस सरकार की देन है। पानी, बिजली, आंतरिक सड़क आदि तमाम निर्माण कार्य कांग्रेस सरकार के समय में हुए, जबकि इन साढ़े तीन साल में भाजपा सरकार ने वहां एक पैसा भी खर्च नही किया। वहीं पिछली कांग्रेस सरकार गैरसैंण में 175 करोड़ रूपये के आस—पास खर्च कर चुकी है, सचिवालय निर्माण के लिए ही 55 करोड़ स्वीकृत हुआ था। उन्होंने कहा कि भाजपा सिर्फ जनता को बरगलाने का काम कर रही है। राज्य गठन के इतने सालों में भाजपा स्थायी राजधानी घोषित नही कर पाई है। जिससे पर्वतीय राज्य की जनता अपने को ठगा हुआ महसूस कर रही है। उन्होंने कहा कि अगर 2022 में यदि कांग्रेस सरकार आई तो शहीदों की भावना के अनुरूप गैरसैंण स्थायी राजधानी बनायी जायेगी। पत्रकार वार्ता में पूर्व विधायक मनोज तिवारी, कांग्रेस जिलाध्यक्ष पीतांबर पांडे, लमगड़ा ब्लाक अध्यक्ष दीवान सतवाल, गोपाल सिंह चौहान, चंदन बोरा, कमल बिष्ट आदि मौजूद थे।
पानी की किल्लत के लिए भाजपा सरकार जिम्मेदार
अल्मोड़ा। यहां नगर व आस—पास के क्षेत्रों में चल रही भीषण पेयजल किल्लत पर कुंजवाल ने कहा कि वर्तमान सरकार का ध्यान पेयजल योजनाओं पर नही है। शहर को पर्याप्त पानी मिल सके इसके लिए डैम का निर्माण हुआ, लेकिन आज जनता के लिए इसका उपयोग नही हो पा रहा है। जरा सी बारिश होने पर गाद भरने से नगर में पेयजल संकट उत्पन्न हो जाता है। जिसका सीधा अर्थ है कि भाजपा सरकार अधिकारियों को सही ढंग से निर्देशित नही कर पा रहे हैं।