नई दिल्ली। राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार द्रौपदी मुर्मू शुक्रवार को अपना नामांकन दाखिल करेंगी।
मुर्मू कल अपने गृह राज्य ओडिशा से राष्ट्रीय राजधानी पहुंची और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) अध्यक्ष जेपी नड्डा से मुलाकात की।
झारखंड की राज्यपाल रही मुर्मू
झारखंड की राज्यपाल रही मुर्मू प्रधानमंत्री, रक्षा मंत्री और गृह मंत्री समेत अन्य वरिष्ठ नेताओं की मौजूदगी में अपना नामांकन दाखिल करेंगी। मोदी के उनके पहले प्रस्तावक होने की उम्मीद है। प्रस्तावकों में भाजपा के वरिष्ठ नेता और कुछ अन्य दलों के नेता भी शामिल होंगे। इस नामांकन के दौरान ओडिशा सरकार के दो वरिष्ठ मंत्री सत्तारूढ़ बीजू जनता दल (बीजद) के प्रतिनिधि के रूप में मौजूद रहेंगे।
कई पार्टीयों का समर्थन
नीतीश कुमार की अध्यक्षता वाले जनता दल (यूनाइटेड), ओडिशा के मुख्यमंत्री और बीजद अध्यक्ष नवीन पटनायक, जगन मोहन रेड्डी के नेतृत्व वाली वाईएसआर कांग्रेस ने भी मुर्मू की उम्मीदवारी को अपने समर्थन की घोषणा की है। झारखंड में कांग्रेस के साथ गठबंधन सरकार चलाने वाला झारखंड मुक्ति मोर्चा भी उनकी उम्मीदवारी का समर्थन कर सकता है।
18 जुलाई को राष्ट्रपति चुनाव
मुर्मू ने आगामी चुनाव के लिए सभी से सहयोग मांगा है। वह राष्ट्रपति के रूप में चुने जाने में मदद के लिए राजनीतिक दलों से समर्थन के वास्ते 25 जून से अपना अभियान शुरू करेंगी। भाजपा ने 18 जुलाई को होने वाले राष्ट्रपति चुनाव की चुनावी प्रक्रिया के समन्वय के लिए केंद्रीय मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत के नेतृत्व में 14 सदस्यीय टीम नियुक्त की है।
मोदी ने एक ट्वीट में कहा, “मुर्मू की जमीनी समस्याओं की समझ और भारत के विकास के लिए दृष्टिकोण उत्कृष्ट है।”
विपक्ष ने मुर्मू के खिलाफ पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा को मैदान में उतारा है। सिन्हा 27 जून को अपना नामांकन दाखिल करेंगे।
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