NainitalPoliticsUttarakhand

हल्द्वानी न्यूज :15 अगस्त को “संविधान बचाओ, लोकतंत्र बचाओ, भारत बचाओ” दिवस के रूप में मनायेगी भाकपा (माले)


हल्द्वानी । “भाकपा (माले) स्वतंत्रता दिवस को संविधान बचाओ, लोकतंत्र बचाओ, भारत बचाओ” दिवस के रूप में मनायेगी। यह जानकारी भाकपा(माले) जिला सचिव डॉ. कैलाश पाण्डेय ने दी।
उन्होंने कहा कि, “कोरोना आपदा को अवसर के रूप में इस्तेमाल करते हुए हमारे संसाधनों एवं राष्ट्रीय संपत्ति पर आर्थिक प्रहार के अलावा, मोदी सरकार ने जन आंदोलनों की विभिन्न धाराओं, खासतौर पर सीएए विरोधी उभार, क्रांतिकारी छात्र आंदोलन और मानवाधिकार अभियान से जुड़े हुए कार्यकर्ताओं के विरुद्ध दमनात्मक अभियान और राजनीतिक धरपकड़ तेज कर दी है। दिल्ली दंगों के केस को शाहीन बाग प्रतिवाद और “भारत बचाओ,संविधान बचाओ” अभियान के लिए षड्यंत्र में तब्दील कर दिया गया। कई एक्टिविस्टों को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है तथा कई औरों से पूछताछ की जा रही और उन्हें चार्जशीटों में फंसाया जा रहा है। सीएए विरोधी प्रदर्शनकारियों की धरपकड़ कई भाजपा शासित राज्यों में चल रही है, भाकपा(माले) भीमा कोरेगांव, सीएए विरोधी प्रदर्शनकारियों व तमाम उत्पीड़ित राजनीतिक बंदियों की बिना शर्त रिहाई की मांग करती है”
उन्होंने कहा कि, “सरकार ने ऑपरेशन कश्मीर की पहली बरसी को पूर्ववर्ती बाबरी मस्जिद के स्थल पर राम मंदिर के शिलान्यास के दिवस के रूप में चुना, लेकिन अयोध्या में मोदी के भाषण में जिस शर्मनाक तरीके से 5 अगस्त को 15 अगस्त स्वतंत्रता दिवस के बराबर बताया गया वह आरएसएस-भाजपा के भारत को कॉरपोरेट- साम्प्रदायिक फासिस्ट राष्ट्र में बदलने की योजना की सर्वाधिक मुखर अभिव्यक्ति है”
माले नेता ने कहा कि, “15 अगस्त ने संविधान को लागू करने की दिशा में कदम बढ़ाया और 26 जनवरी,1950 को संविधान ने धर्मनिरपेक्ष लोकतांत्रिक गणराज्य की बुनियाद और खाका प्रदान किया। इसके विपरीत 5 अगस्त तो 6 दिसंबर 1992 के मस्जिद विध्वंस की उपज है जो भारत के संविधान पर चोट थी. अतः हमें अगस्त की वास्तविक विरासत को आत्मसात करना चाहिए। 15 अगस्त जो लंबे स्वतंत्रता आंदोलन की औपचारिक परिणति थी, उसे आज के संदर्भ में भारत के संविधान, लोकतंत्र और राष्ट्रीय हितों पर मोदी सरकार के निरंतर प्रहार के विरुद्ध “संविधान बचाओ, लोकतंत्र बचाओ, भारत बचाओ” दिवस के रूप में मनाना चाहिए।”
उन्होंने कहा कि मोदी सरकार के इस नीतिगत हमले के खिलाफ चल रहे प्रतिवादों और विकसित होते प्रतिरोधों का भाकपा (माले) स्वागत करती है और अपनी सभी कमेटियों, कॉमरेडों और प्रगतिशील -लोकतांत्रिक शक्तियों का आह्वान करती है कि वे स्वतंत्रता दिवस पर इन प्रतिरोधों को तीव्र करने के लिए पूरी ताकत से जुट जाने का संकल्प लें।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *


Back to top button
किचन गार्डन में जरूर लगाएं ये पौधे, सेहत के लिए भी फायदेमंद Uttarakhand : 6 PCS अधिकारियों के तबादले शाहरूख खान की फिल्म डंकी 100 करोड़ के क्लब में शामिल हिमाचल में वर्षा, बर्फबारी होने से बढ़ी सर्दी Uttarakhand Job : UKSSSC ने निकाली 229 पदों पर भर्ती