✒️ ट्रक चालक की दिलेरी को सलाम !
देहरादून। कहते हैं कि मुश्किल वक्त में भी यदि हिम्मत न हारते हुए दिमाग का सही इस्तेमाल किया जाये, तो बड़ी से बड़ी मुसीबत से निजात मिल सकती है। देहरादून में बीच सड़क में हुई एक घटना ने इस कहावत को चरितार्थ कर दिया है। यहां आग की लपटों में घिरे ट्रक को उसका चालक लगभग डेढ़ किमी दूर फायर स्टेशन तक ले गया। जहां दमकल कर्मियों ने आग पर काबू पा लिया। ट्रक चालक के साहस की तमाम लोग जमकर तारीफ कर रहे हैं।
जानिए क्या था यह पूरा घटनाक्रम
Truck engulfed in flames seen running on the highway : दरअसल, मामला गत देर शाम का है। हुआ यूं कि रामपुर स्थित अब्दुल कबाड़ी के यहां बुधवार देर शाम रोज की तरह ट्रक (कंटेनर) में गत्ता लोड करने का काम चल रहा था। इस कंटेनर में स्क्रैब को लाद रोशनाबाद हरिद्वार ले जाया जा रहा था। लोडिंग प्रक्रिया पूरी होने के बाद ज्यों ही कंटेनर को बंद किया गया, तभी आचनक भीतर गत्तेे में आग लग गई। यह देख वहां अफरा-तफरी का माहौल हो गया। जब लोगों ने पानी डाला तो आग बुझने के बजाए और भड़क गई। अब समस्या यह थी कि यदि इस ट्रक को छोड़ चालक व अन्य लोग भाग जाते तो आग और भयानक रूप ले सकती थी, जिससे जान-माल के भी भारी नुकसान का अंदेशा था।
चालक ने दिखाई बड़ी हिम्मत, किया यह कारनामा
ऐसी कठिन परिस्थिति में चालक अवनीश पांडेय ने हिम्मत नहीं खोयी। उसने बड़े ही साहस का परिचय देते हुए यह जलता हुआ ट्रक स्टार्ट कर दिया और इसे सड़क पर दौड़ाते हुए सीधे फायर स्टेशन ले गया। उसने लगभग तीन किलोमीटर का सफर इस जलते हुए ट्रक में ही तय किया। वह हाईवे और औद्योगिक क्षेत्र सेलाकुई की सड़क से गुजरा। अंत में सुरक्षित अग्निक्षमन स्टेशन पहुंच गया। यहां मौजूद दमकल कर्मियों ने भी तत्परता दिखाई। जिसके बाद करीब 01 घंटे की भारी मशक्कत के बाद आग पर काबू पा लिया गया।
हर कोई कर रहा चालक की तारीफ
इस घटना के बाद तमाम लोग ट्रक चालक अवनीश पांडेय की प्रशंसा कर रहे हैं। यदि चालक ने हिम्मत खो दी होती तो यह ट्रक (कंटेनर) गत्ता लोडिंग वाले स्टान पर भी धमाके के साथ फट सकता था। जिससे बहुत बड़ा हादसा हो जाता। चालक इस आग का गोला बने ट्रक को करीब 03 किमी दून-पांवटा हाईवे में दौड़ाता रहा। जिसके बाद वह औद्योगिक क्षेत्र सेलाकुई की सड़क से होता हुआ सेलाकुई फायर स्टेशन पहुंच गया। आग को बुझाने में अग्निक्षमन अधिकारी रमेश चंद गौतम ने भी काफी तत्परता दिखाई। उनके नेतृत्व में कंटेनर की छत के कुछ हिस्से को काट कर भीतर पानी का छिड़काव करना पड़ा। तब जाकर आग पर काबू पाया जा सका। यह कंटेनर के चारों तरफ से बंद था। जिस वजह से इसकी छत को काटना पड़ा था।