चम्पावत : वेदांती होली गायन के साथ होली पर्व का समापन

चम्पावत/लोहाघाट। पहाड़ में टीके की होली के साथ खड़ी होली का विधिवत समापन हो गया। जिला मुख्यालय के डिप्टेश्वर महादेव मंदिर में वेदांती होली की…

चम्पावत/लोहाघाट। पहाड़ में टीके की होली के साथ खड़ी होली का विधिवत समापन हो गया। जिला मुख्यालय के डिप्टेश्वर महादेव मंदिर में वेदांती होली की गूंज रही। जिले के विभिन्न गांवों में सुबह से ही पूजा पाठ का दौर जारी रहा। विभिन्न देवालयों में कुल देवताओं का पूजन किया गया, साथ ही प्रसाद वितरण के साथ होली गायन किया गया। लोहाघाट के राय नगर चौड़ी, सुई, फोर्ती आदि गांवों में टीके के मौके पर वेदांती होली का गायन किया गया।

इधर जिला मुख्यालय में आदर्श होली कमेटी मादली के तत्वावधान में वेदांती होली गायन का आयोजन किया गया। जिसमें ग्रामीणों के साथ ही नगर के होलियारो ने होली गायन में प्रतिभाग कर अपनी संस्कृति और परंपरा को अक्षुण रखने के लिए हर संभव सहयोग का भरोसा दिलाया। महंत ज्योति दास के दिशा निर्देशन में आयोजित वेदांती होली में पुरुषों के साथ ही महिलाओं ने भी होली गायन किया।

कमेटी अध्यक्ष शंकर खाती की अध्यक्षता में आयोजित वेदांती होली गायन के दौरान
-कुंडलपुर के राजा भीष्मक नाम कहाय।
-गई असुर तेरी नार मनोदरी सिया मिलन गई बागां में।
-ऐसी पतिव्रत नारी सुलोचना सती भई बालम संग में।
-तुम तो भई तपवान कालिका कलियुग में अवतार लियो।
-राजा बलि के द्वार मच्चिया होरी।
-तल धरती पुर बादल उपजी बयार।
-कांनड गय्यां ग्वाल वंशी बेन बजायो रे।
-हमें उतारो पार मल्हा, हमसे उतराई ले लीजो।
सहित तमाम वेदांती होलियों का गायन हुआ।

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