- प्राधिकरण हटाओ मोर्चा की आयुक्त से वार्ता, डीडीए हटाने पर भी जोर
सीएनई रिपोर्टर, बागेश्वर
जिला स्तरीय विकास प्राधिकरण और बागेश्वर महयोजना 2031 को निरस्त करने की मांग जोर पकड़ने लगी है। प्राधिकरण हटाओ मोर्चा का कहना है कि लोग दोनों कानूनों से परेशान हैं। इसी सिलसिले में आज आयुक्त दीपक रावत के सामने भी प्राधिकरण हटाओ मोर्चा ने यह मुद्दे उठाए।
मंगलवार को मोर्चा के प्रतिनिधियों ने आयुक्त कुमाऊं मंडल दीपक रावत से मुलाकात की। उन्होंने कहा कि पर्वतीय क्षेत्रों की विषम भौगोलिक परिस्थितयों को देखते हुए जिला स्तरीय विकास प्राधिकरण और महायोजना को तत्काल निरस्त किया जाना चाहिए। समय-समय पर सीएम और जनप्रतिनिधियों ने भी स्थगित और निरस्त करने के बयान दिए हैं। उन्होंने पूर्व से विद्यमान जीर्णशीर्ण भवनों के पुर्ननिर्माण के लिए उसी प्लैंथ एरिया में निर्माण की अनुमति देने, भवन बनाने को लिए जा रहे विभिन्न शुल्कों से संबंधित स्पष्ट निर्देश और आम जनता का उत्पीड़न रोकने की मांग की। कहा कि जिला स्तरीय विकास प्राधिकरण कार्यालय की कार्यप्रणाली में सुधार की आवश्यकता है, ताकि रसूकदारों को छूट और आम जनता का उत्पीड़न रोका जा सके। उन्होंने कहा कि मनमाने तरीके से बागेश्वर महायोजना 2031 बना दी। बिना भू-स्वामियों की सहमति के भूमि का मनमाना भू-उपयोग सुनिश्चित कर दिया गया। हालिया भू-उपयोग परिवर्तन के लिए शासनदेशों से भी बागेश्वर की जनता को कोई लाभ नहीं मिल सका है। उन्होंने कहा कि यदि जिले के लोगों की भावनाओं के साथ खिलवाड़ किया गया, तो वह आंदोलन को बाध्य होंगे। इस मौके पर मोर्चा अध्यक्ष प्रमोद पांडे, पंकज पांडे, जिला पंचायत उपाध्यक्ष नवीन परिहार, सदस्य इंद्रा परिहार, गोपा धपोला, रेखा देवी, रमेश पांडे कृषक आदि मौजूद थे।