बागेश्वर। कांडा का ऐतिहासिक दशहरे मेले पर भी इस बार कोरोना की मार पड़ी है। हर वर्ष भव्यता के साथ मनाया जाने वाला दशहरा मेला इस बार आयोजित नहीं होगा। लोग दूर—दूर से इस मेले को देखने यहां पहुंचते है। क्षेत्र के प्रवासी भी दशहरे के मौके पर घर की ओर रुख करते है।कोरोना काल में इस वर्ष कहीं भी भीड़ नहीं जुटानी है,जिस का असर ऐतिहासिक मेले पर भी पड़ना तय है।फिलहाल प्रशासन ने मेला ना लगाने की हिदायत के साथ नवरात्रि पर भक्तों के लिए कालिका मंदिर के द्वार तो खोल दिये हैं। मिल रही जानकारी के अनुसार कांडा पड़ाव के कालिका मंदिर में पिछले वर्षो की तरह इस वर्ष भी भक्त मां के दर्शन तो कर पाएंगे लेकिन कोविड—19 के नियमों के तहत। माता के भक्तों को सोशल डिस्टेंसिंग के साथ मास्क पहना भी होगा अनिवार्य। मंदिर कमेटी को भी व्यवस्थाओं को दुरुस्त रखना होगा। नवरात्र में 17 से 25 अक्टूबर तक मंदिर खोला जाएगा। पूरी सावधानी बरतने पर भक्त माता के दर्शन कर सकेंगे। थर्मल स्क्रीनिंग,मास्क,सेनेटाइज और सोशल डिस्टेंसिंग का पूरा ख्याल रखा जाएगा। दर्शन के लिए मंदिर परिसर में एक गेट से एंट्री करेंगे और दूसरे से बाहर लिकलेंगे। पूरी व्यवस्था पर प्रशासन व पुलिस की कड़ी नजर रहेगी।
वहीं दूसरी ओर प्रशासन इस व्यवस्था को कैसे दुरुस्त रखता है ये देखना दिलचस्प होगा। वैसे ही कांडा थाने के पास फोर्स की कमी है और नवरात्री में जिले भर में कई मंदिरों को फोर्स की जरुरत होगी। प्रशासन द्वारा कहीं थोड़ी भी ढिलाई बरती गई तो इसके नतीजे काफी गंभीर हो सकते हैं। कोरोना पहाड़ में तो पहले ही पैर पसार चुका है।
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