सरकार पर लगाया यूपीसीएल को निजी हाथों में देने की साजिश करने का आरोप
सीएनई रिपोर्टर, बागेश्वर। बिजली के स्मार्ट मीटर लगाने की योजना का विरोध शुरू हो गया है। संघर्ष वाहिनी ने इसके विरोध में प्रदर्शन किया। यहां हुई सभा में वक्ताओं ने कहा कि सरकार यूपीसीएल को निजी हाथों में देने की साजिश रही है। डिजिटल मीटर लोगों ने पहले से लगाए हैं। अब स्मार्ट मीटर के नाम से लेागों को बरगलाने का काम किया जा रहा है।
जिलाध्यक्ष कवि जोशी के नेतृत्व में वाहिनी से जुड़े लोग गुरुवार को तसहील मुख्यालय में पहुंचे। यहां नारेबाजी के साथ प्रदर्शन किया। सभा के बाद एसडीएम के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा। ज्ञापन में उनका कहना है कि सरकार ने पहले प्रीपेड मीटर लगाने की योजना बनाई, लेकिन विरोध के बाद योजना का नाम बदलकर स्मार्ट मीटर योजना कर दिया। पहले ही पूरे प्रदेश में डिजिटल मीटर लगे हुए हैं। ऐसे में स्मार्ट मीटर लगाने की योजना किसी को पच नहीं रही है।
बिजली चोरी रोकने के नाम पर स्मार्ट मीटर लगाने की येाजना बनाई जा रही है। इसके पीछे यूपीसीएल के निजीकरण और भविष्य में इन स्मार्ट मीटरों को प्रीपेड करने की सराकर की मंशा है, लेकिन वाहिनी ऐसा नहीं होने देगी। लगातार बिजली के दाम बढ़ाकर सरकार ने आम आदमी का जीना मुहाल कर दिया है।
उन्होंने स्मार्ट मीटर योजना के बजाए पुरानी व्यवस्था बनाए रखने, यूपीसीएल को निजी हाथों में नहीं देने, लगातार लो वोल्टेज की समस्या दूर करने, बिजली के बढ़ते दामों को कम करेने की मांग सरकार से की है। इस मौके पर नवनीत बिष्ट, वीरेंद्र सिंह, प्रकाश पांडेय, संस्कार भारती, चंद्रकांड भंडारी, अनमोल आदि मौजूद रहे।