✍️ दीर्घकालीन अवकाशों का मानदेय रोकने से अतिथि शिक्षकों का चढ़ा पारा
सीएनई रिपोर्टर, बागेश्वर: माध्यमिक विद्यालयों के अतिथि शिक्षकों का दीर्घकालीन अवकाश का मानदेय रोक दिया गया, इस पर इन अतिथि शिक्षकों ने कड़ी आपत्ति जताते हुए कार्य बहिष्कार शुरू कर दिया है और आज सीईओ दफ्तर के समक्ष प्रदर्शन किया। साथ ही सभा करते हुए कहा कि यदि उन्हें रोका गया मानदेय नहीं दिया गया, तो वे 15 जुलाई से अनिश्चितकालीन धरने पर चले जाएंगे। इसके लिए विभगा जिम्मेदार रहेगा।
अतिथि शिक्षक संगठन से जुड़े शिक्षक सोमवार को मुख्य शिक्षा अधिकारी कार्यालय में एकत्रित हुए। यहां जोरदार नारेबाजी के साथ प्रदर्शन किया। यहां सभा के बाद शिक्षक नारेबाजी करते हुए शिक्षक कलक्ट्रेट पहुंचे और डीएम अनुराधा पाल को ज्ञापन सौंपा। ज्ञापन में शिक्षकों का कहना है कि जिले में 250 से अधिक अतिाथि शिक्षक 2015 से कार्यरत हैं। विगत वर्षां में दीर्घकालीन अवकाशों का मानदेय विभाग द्वारा किया जाता है। गत वर्ष निदेशक माध्यमिक से वार्ता कर इस समस्या का समाधान निकाला गया था, लेकिन विभाग द्वारा इस वर्ष भी किसी आदेश के अतिथि शिक्षकों का मानदेय रोका जा रहा है, जबकि वे शासनादेश के अनुसार विद्यालय में पदभार ग्रहण करने से कार्यमुक्ति तक प्रत्यक्ष रूप से विद्यालय में सेवायोजित हैं।
उन्हेांने कहा कि अल्मोड़ा, पिथौरागढ़, हरिद्वार, पौड़ी आदि जिलों में वेतन मिल चुका है, लेकिन बागेश्वर जिले में जहां दुर्गम से अति दुर्गम स्थानों पर अतिथि शिक्षक पूरे लगन से काम कर रहे हैं। ऐसे में उनका वेतन रोकना तर्क संगत नहीं है। अधिकतर शिक्षक बाल बच्चे वाले हैं। उनके समाने आर्थिक संकट गहरा गया है। उन्होंने जल्द समस्या का समाधान नहीं होने पर 15 जुलाई से अनिश्चितकालीन धरना प्रदर्शन करेंगे। इइस मौके पर अध्यक्ष महेश चंद्र टम्टा, गोपाल बिष्ट, छाया कोश्यारी, संतोष उप्रेती, हेमंत लाल, प्रदीप कुमार्र ललित प्रसाद, हेमलता, गीता टम्टा, उमा नेगी, कमला गड़िया आदि मौजूद रहे।