नई दिल्ली| कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने ईपीएस-95 योजना के अंतर्गत उच्च पेंशन के लिए आवेदन कर रहे पात्र कर्मचारियों को पेंशन फंड में बाकी भुगतान के लिए तीन महीने का समय दिया है और उनको अपनी सहमति नियोक्ता के माध्यम से देनी होगी।
ईपीएफओ ने अपने क्षेत्रीय कार्यालयों को गुरुवार को भेजे गए एक परिपत्र में कहा है कि उच्च पेंशन के लिए आवेदन कर रहे कर्मचारियों को पेंशन फंड में बाकी आवश्यक भुगतान के लिए तीन महीने तक का समय दिया जा सकता है। पेंशन फंड में धन हस्तांतरित करने के लिए प्रत्येक कर्मचारी और नियोक्ता को सूचित किया जाएगा। धन हस्तांतरित करने के संबंध में प्रत्येक कर्मचारी को अपने अंतिम नियोक्ता की सहमति के साथ आवेदन करना होगा।
परिपत्र में कहा गया है कि उच्च पेंशन के लिए कर्मचारियों के प्रत्येक आवेदन का व्यक्तिगत रूप से मूल्यांकन होगा और उसे सूचित किया जाएगा। ईपीएफओ ने यह जिम्मेदारी अपने क्षेत्रीय कार्यालय को सौंपी है। पेंशन फंड में आवश्यक बाकी योगदान पर ब्याज की गणना क्षेत्रीय अधिकारी करेंगे।
परिपत्र में कहा गया है कि उच्च पेंशन के लिए प्राप्त आवेदनों को तीन श्रेणियों में बांटा जाएगा। प्रथम श्रेणी में वे कर्मचारी शामिल होंगे जो अभी सेवा में है और उनकी भविष्य निधि में धन जमा है। दूसरी श्रेणी में वे कर्मचारी शामिल है जो अभी सेवा में है और भविष्य निधि में धन जमा नहीं है। तीसरी श्रेणी में वे कर्मचारी शामिल हैं जो सेवा में नहीं है। ईपीएफओ ने कहा है कि प्रथम दो श्रेणियों को आवश्यक बाकी योगदान नियोक्ता की सहमति के साथ जमा कराना होगा और जो कर्मचारी सेवा में नहीं है, वे बैंक के माध्यम से या ई पी एफ ओ द्वारा उपलब्ध कराई गई ऑनलाइन सेवा के माध्यम से आवश्यक बाकी योगदान दे सकेंगे।
परिपत्र में कहा गया है कि उच्च पेंशन के लिए बाकी आवश्यक योगदान के लिए कर्मचारी और नियोक्ता को सूचित किया जाएगा और पूरी प्रक्रिया की जानकारी उन्हें व्यक्तिगत रूप से दी जाएगी। ईपीएफओ ने कहा है कि पूरी प्रक्रिया की निगरानी सप्ताहिक आधार पर की जाएगी। ईपीएफओ के अनुसार पूरी प्रक्रिया उच्च पेंशन के लिए उच्चतम न्यायालय के निर्देशों के अनुरूप है।