नैनीताल | नैनीताल की बेटी काजल चौधरी जो कि एक सामाजिक कार्यकर्ता है, साथ ही एक कवियत्री लेखिका भी, समाज के विभिन्न मुद्दों पर हमेशा ही अपनी बेबाक राय रखते हुए आई है, पेशे से ये एक कानूनी सलाहकार और स्वतंत्र पत्रकार रहीं हैं।
बता दें कि मानव अधिकार आयोग नई दिल्ली के मुख्य संरक्षक, पूर्व राष्ट्रीय मानव अधिकार आयोग अध्यक्ष एवं पूर्व न्यायाधीश केजी बालाकॄष्णन के आदेशानुसार पूर्व अध्यक्षा राष्ट्रीय महिला आयोग भारत ममता शर्मा की सहमति से पूर्व जस्टिस सुप्रीम कोर्ट नई दिल्ली सुधा मिश्रा के अनुशंसा पर संगठन के हरियाणा के राष्ट्रीय अध्यक्ष वीपी शर्मा द्वारा काजल चौधरी को मानव अधिकार आयोग मिशन की जिला कानून विधि सचिव नियुक्त किया हैं।
पूर्व में इन्होंने उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, जयपुर, बिहार, दिल्ली, इलाहाबाद, लखनऊ के कई न्यूज चैनल्स, पत्र पत्रिकाओं में बतोर स्वतंत्र पत्रकार और बिहार, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश के मुख्य राजनीतिक दलों में रह कर मुख्य सलाहकार के रूप में कार्य किया हैं, इनकी परास्नातक की शिक्षा कुमाऊं विश्वविघालय नैनीताल से पूर्ण हुई हैं।
काजल चौधरी (Kajal Chaudhary) कहतीं है कि उनका मुख्य उद्देश्य समाज में व्याप्त सामाजिक विभिन्न मसलों, मुद्दों, घरेलू हिंसा, नागरिकों के कानूनी अधिकार और उचित न्याय दिलाना, अपराध और अपराधियों से समाज को मुक्त कराना, पुलिस और प्रशासन के साथ उचित तालमेल कायम करना, महिलाओं पर हो रहे घरेलू अत्याचारों पर रोक लगाना, पर्यावरण प्रदूषण को रोकना, खाद्य पदार्थों के मिलावटखोरों पर अंकुश लगाना, समाज में व्याप्त रिश्वतखोरी पर रोक लगाना, लोगों को अपने अधिकारों के बारे में जागरूक करना, सरकारी योजनाओं को आम जन तक पहुंचाना, समाज में व्याप्त श्रमिक शोषण पर रोक, दहेज प्रथा पर अंकुश लगाना, पीड़ितों की एफआईआर दर्ज करने में सहायता, यातायात नियमों का पालन करना और समझाना, राष्ट्रीयहित और जनहित व भ्रष्ट लोगों का पर्दाफ़ाश करने के लिए समय-समय पर आरटीआई का उपयोग करना इनके मुख्य उद्देश्य है।
काजल चौधरी ने अपनी सफलता का श्रेय माता-पिता, गुरूजनों, परिवारजनों, मित्रों को दिया हैं। उन्होंने कहा कि अगर ये सभी लोग मेरे जीवन में नहीं होते तो आज में इस काबिल नहीं हो पाती, भविष्य में वह एक सफल आईएएस अधिकारी बनना चाहती हैं।