प्रोफेसर जगत सिंह बिष्ट बने कुमाऊंनी भाषा, साहित्य एवं संस्कृति प्रचार समिति की प्रबंध समिति के अध्यक्ष

✍️ अल्मोड़ा संग्रहालय में कार्यकारिणी भंग करने के बाद हुआ चुनाव ✍️ इस वर्ष तेज की जाएगी कुमाऊंनी भाषा विकास अभियान की धार सीएनई रिपोर्टर,…

प्रोफेसर जगत सिंह बिष्ट बने कुमाऊंनी भाषा, साहित्य एवं संस्कृति प्रचार समिति की प्रबंध समिति के अध्यक्ष

✍️ अल्मोड़ा संग्रहालय में कार्यकारिणी भंग करने के बाद हुआ चुनाव
✍️ इस वर्ष तेज की जाएगी कुमाऊंनी भाषा विकास अभियान की धार

सीएनई रिपोर्टर, अल्मोड़ा। कुमाऊंनी भाषा, साहित्य एवं संस्कृति प्रचार समिति, कसारदेवी की प्रबंध समिति के पदाधिकारियों और कार्यकारिणी सदस्यों का चुनाव अधिकारी डॉ. एसएस पथनी एवं रूप सिंह बिष्ट की देखरेख में संपन्न हुआ। समिति के पूर्व अध्यक्ष देव सिंह पिलख्वाल ने वर्तमान प्रबंध समिति को भंग करते हुए प्रबंध समिति के पदाधिकारियों व कार्यकारिणी सदस्यों के चुनाव कराने की घोषणा की।


यहां संग्रहालय सभागार में आयोजित चुनावी बैठक में नई कार्यकारिणी के लिए विद्धान प्रो. जगत सिंह​ बिष्ट को अध्यक्ष चुना गया। इनके अलावा अधिवक्ता जमन सिंह बिष्ट को दोबारा उपाध्यक्ष चुना गया जबकि सेवानिवृत्त शिक्षक नीरज पंत सचिव, सुरेन्द्र सिंह बिष्ट कोषाध्यक्ष, नीलम नेगी को उप सचिव चुना गया। वहीं कार्यकारिणी सदस्यों के रूप में हयात सिंह रावत, महेद्र सिंह ठकुराठी, रमेश प्रकाश पर्वतीय, नारायण सिंह बिष्ट, जगत सिंह महरा व महिपाल बिष्ट को चुना गया और प्रवीण सिंह कर्मयाल, देव सिंह पिलख्वाल गोविंद सिंह महरा व डॉ. देव सिंह पोखरिया को विशेष आमंत्रित सदस्य नामित किया गया। इस मौके पर कुमाऊंनी भाषा के विकास के अभियान को गति देकर आगे बढ़ाने के लिए कुमाऊं मंडल के प्रत्येक जिले के लिए जिला संयोजक ​चुने गए। जिसमें केपीएस अधिकारी (द्वाराहाट) को अल्मोड़ा, किशन सिंह मलड़ा को बागेश्वर, जनार्दन उप्रेती को पिथौरागढ़, जनार्दन चिलकोटी को चंपावत, डॉ. प्रदीप उपाध्याय (हल्द्वानी) को नैनीताल तथा योगेन्द्र दत्त बिष्ट (सितारगंज) को ऊधमसिंहनगर जनपद का संयोजक चुना गया।

बैठक में निर्णय लिया गया कि कुमाऊंनी भाषा के विकास के अभियान की धार चालू वर्ष में तेज की जाएगी। कुमाऊं मंडल के प्रत्येक जनपद में अभियान चलेगा। कुमाऊंनी भाषी लोगों को रोजाना जीवन में कुमाऊंनी के अधिकाधिक प्रयोग के लिए प्रेरित किया जाएगा, साथ ही शिक्षा में कुमाऊंनी भाषा को शामिल करने हेतु सशक्त पैरवी की जाएगी। इस पहल को देश-विदेश में रहने वाले कुमाऊंनी भाषी लोगों तक पहुंचाया जाएगा। इस अवसर पर समिति के सदस्य एवं तमाम गणमान्य व्यक्ति उपस्थित रहे।


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