— विकल्प व साक्षात्कार प्रकिया पूरी, चंपावत कैंपस के लिए जरूरी प्रक्रियाएं शुरू
— सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. नरेंद्र सिंह भंडारी से सीएनई की बातचीत
सीएनई रिपोर्टर, अल्मोड़ा
सोबन सिंह विश्वविद्यालय अल्मोड़ा के अधीन पिथौरागढ़ व बागेश्वर कैंपस कालेजों में शीघ्र ही विश्वविद्यालय के शिक्षकों/ कर्मचारियों की नियुक्ति हो जाएगी। वहीं चंपावत कैंपस के लिए जरूरी प्रक्रियाएं शुरू कर दी गई हैं। इसके अलावा विश्वविद्यालय अगले माह छात्रसंघ चुनाव कराने की कोशिश में लगा है।
सोबन सिंह जीना विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. नरेंद्र सिंह भंडारी ने सीएनई से बातचीत में बताया कि कुमाउं विश्वविद्यालय के शिक्षकों व कर्मचारियों से विकल्प मांगे जाने की प्रक्रिया के बाद यहां का विकल्प देने वाले शिक्षकों का साक्षात्कार भी हो चुका हैं। अब शासन से वार्ता चल रही है और शासन से हरी झंडी मिलते ही विश्वविद्यालय के शिक्षकों व कर्मचारियों की बागेश्वर व पिथौरागढ़ कैंपसों में नियुक्ति हो जाएगी। उन्होंने यह भी बताया कि चंपावत महाविद्यालय को कैंपस का दर्जा मिल चुका है और अब इसे कैंपस के रूप में अस्तित्व में लाने के लिए आवश्यक प्रक्रियाएं शुरू कर दी गई हैं।
हाल में विश्वविद्यालय में नियुक्तियों को लेकर लगे आरोप के बारे में कुलपति प्रो. भंडारी ने स्पष्ट किया कि विश्वविद्यालय में खाली पदों के सापेक्ष गेस्ट फैकल्टी शिक्षकों की नियुक्ति की गई है, लेकिन ये सभी नियुक्तियां यूजीसी के नियमानुसार हुई हैं। उन्होंने बताया कि नया विश्वविद्यालय होने के कारण सुचारु रूप से कार्य संचालन के लिए कुछ मल्टी परपज बहु वैकल्पिक कर्मचारी रखे गए हैं, लेकिन ये कर्मचारी नितांत रूप से अस्थाई हैं। इस व्यवस्था में स्थानीय स्तर से ही चयन किया गया है और इन नितांत अस्थाई कर्मचारियों की तैनाती भी विश्वविद्यालय की साक्षात्कार समिति की संस्तुति पर हुई है।
छात्रसंघ चुनाव के बारे में पूछे जाने पर कुलपति के लिए शासन से वार्ता चल रही है और शासन से घोषित तिथि के अनुसार चुनाव होंगे। उन्होंने कहा कि चुनाव जल्दी कराने के लिए विश्वविद्यालय प्रयास में लगा है और इसके लिए इस सत्र का परीक्षाफल जल्द घोषित करने के पूरे प्रयास किए जा रहे हैं। साथ ही प्रवेश भी शुरू कर दिए हैं। उन्होंने बताया कि गत दिवस छात्रों द्वारा चुनाव कराने की मांग भी उठाई गई और उच्च शिक्षा मंत्री धन सिंह रावत से वार्ता भी हुई है। जिसमें मंत्री ने नवंबर माह में चुनाव कराने की सैद्धांतिक सहमति जताई है और चुनाव तिथि घोषित करने के लिए दीपावली के बाद कुलपतियों की बैठक बुलाने की बात कही है।