शिमला। भाजपा के संस्थापक पंडित दीनदयाल उपाध्याय की जयंती पर भारतीय जनता पार्टी प्रदेश कार्यालय में कार्यक्रम का आयोजन किया गया। पहले भाजपा के पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का इस अवसर पर सीधा प्रसारण सुना, उसके उपरांत प्रदेश कार्यालय में पंडित दीनदयाल उपाध्याय को पुष्पांजलि अर्पित की गई।
इस उपलक्ष्य में भाजपा के प्रदेश महामंत्री एवं मुख्यमंत्री के राजनीतिक सलाहकार त्रिलोक जमवाल ने कहा की भाजपा एवं जनसंघ के संस्थापक सदस्य पंडित दीनदयाल उपाध्याय जी का जन्म 1916 में उत्तर प्रदेश के एक छोटे से गांव में हुआ उसके उपरांत शिक्षा पूर्ण करने के बाद 1940 में पंडित दीनदयाल उपाध्याय राष्ट्रीय संघ सेवक संघ से जुड़े।
उन्होंने बताया कि भारत की आजादी में उपाध्याय का अहम योगदान रहा। 1951 में पंडित दीनदयाल उपाध्याय जनसंघ के संस्थापक बने और 16 वर्ष तक जन संघ के महामंत्री रहे 1962 में दिसंबर के राष्ट्रीय अधिवेशन में वह जन संघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष बने और 44 दिन तक अध्यक्ष रहे।
उन्हें बताया कि पंडित दीनदयाल उपाध्याय जी का मार्गदर्शन एवं विचार भाजपा एक पवित्र ग्रंथ की तरह कंठस्थ करती है। उनके द्वारा भाजपा को दी गई पांच निष्ठा ओं को प्रत्येक कार्यकर्ता अपना मूल मंत्र मानता है पंडित दीनदयाल सांस्कृतिक राष्ट्रवाद की विचारधारा में विश्वास रखते थे जिसमें सब धर्मों को समान माना जाता है। उन्होंने बताया कि पंडित दीनदयाल उपाध्याय ने एक राजनीतिक दल को लोकतांत्रिक नीति दी जिसके अंतर्गत आज भी भाजपा के बूथ अध्यक्ष से लेकर राष्ट्रीय अध्यक्ष तक का चयन एक चुनाव के माध्यम से होता है।